शनिवार, जनवरी 22, 2022

वार्षिक संगीतमाला 2021 Top 15 आसान किस्तों में तू प्यार कर Kiston

जैसा मैंने पहले भी आपको बताया कि इस बार की वार्षिक संगीतमाला में गीत बिना किसी क्रम यानी रैंकिंग के बज रहे हैं। मेरी कोशिश है कि हर मूड के गीत को बारी बारी से पेश करूँ। राताँ लंबियाँ सुनकर आप जहाँ झूम उठे थे, वहीं जीतेगा जीतेगा में एक जोश पैदा करनी की ताकत थी जबकि पिछली पोस्ट दिल उड़ जा रे में नायिका के मन की मायूसी गीत में उभर कर आई थी। मायूसी के बादलों से बाहर निकलते हुए आज बारी है रूमानियत की नदी में गोते लगाने की एक प्यारी सी सोच के साथ। 



आज का गीत है फिल्म रूही से जिसकी भूत प्रेत वाली कहानी के बारे कुछ ना ही कहा जाए तो बेहतर रहेगा क्यूँकि बहुत लोगों को ये अझेल लगी थी। फिल्म का आइटम नंबर नदियों पार सजन दा थाना ही सिर्फ प्रमोट किया गया था। यही वज़ह थी कि सचिन जिगर का इतना प्यारा सा नग्मा आसान किस्तों में तू प्यार कर अनसुना ही रह गया।

बड़ा खूबसूरत संयोजन किया है सचिन जिगर ने इस गीत की शुरुआत में। पियानो के आंरंभिक नोट्स और फिर वॉयलिन की खूबसूरत बयार जो कि अमिताभ भट्टाचार्य के लिखे बेहतरीन शब्दों के साथ गीत का रोमांटिक मूड तय कर देती है।

जीवन में जब कोई चीज़ हमें बेहद पसंद आती है तो हम कोशिश करते हैं कि देर तक उसका लुत्फ उठाते रहें। अपनी कहूँ तो बचपन में जब मेहमान आते थे तभी घर में शर्बत बनता था और मैं उसे घूँट घूँट कर  पीता था ताकि जीभ पर उसका स्वाद देर तक बना रहे। अमिताभ ने वही बात प्रेम रूपी शर्बत के लिए कही है। अपने प्रियतम के लिए तो मन में ढेर सारी भावनाएँ उमड़ती घुमड़ती रहती हैं। उनको एक साथ प्रकट कर खाली हो जाएँगे तो फिर प्यार करने का क्या आनंद? प्रेम में जितना ज्यादा कहा उससे कहीं ज्यादा अनकहा रह जाता है और उसे समझने बूझने की मन की वर्जिश जीवन में रस घोलती रहती है। इसीलिए अमिताभ कहते हैं

छुप छुप के दिलबर का दीदार कर
ऐ दिल तू आहिस्ता इज़हार कर
सारा का सारा ना करना अभी से
आसान किस्तों में तू प्यार कर
 
छुप छुप के दिलबर का दीदार कर
ऐ दिल तू आहिस्ता इज़हार कर
पगले, सारा का सारा ना करना अभी से
आसान किस्तों में तू प्यार कर

पहले निभा के देखी है तूने
मँहेगी मोहब्बत विलायती
पड़ जाए जिसमें लेने का देना
घाटे का सौदा निहायती

करना अगर ही है तू प्यार करले
सस्ता स्वदेशी किफायती
पहले तू जितना लापरवाह था
उतना संभल के ही इस बार कर
पगले, सारा का सारा ना करना अभी से
आसान किस्तों में तू प्यार कर

अंतरे में सचिन जिगर वॉयलिन के साथ बाँसुरी का मधुर इस्तेमाल करते हैं पर अंतरे के बाद गीत अचानक से खत्म हो जाता है तो लगता है कि शायद गीत का एक और अंतरा होता तो कितना अच्छा होता। जुबीन नौटियाल की आवाज़ में पहली बार सुनकर ही ये गाना गुनगुनाने का मन हो आया। अगर आपको भी मुलायम रूमानी संगीत पसंद है तो इस गाने का जरूर सुनिए और अपने दिलवर को भी सुनाइए..

 

9 टिप्‍पणियां:

  1. उत्तर
    1. हाँ मनीष बड़ा प्यारा नग्मा है। पहली बार सुनते ही पसंद आ गया था।🙂

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  2. कहाँ से चुन लाते हो ऐसे नगीने ��

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  3. तरीका तो एक ही है साल की फिल्मों के सारे गाने सुनो और फिर चुनो🙂

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  4. सीधी-सादी बातों वाली लिरिक्स और प्यारी धुन वाला यह गीत श्रवणीय था। बहुत ज़्यादा पसन्द तो नहीं लेकिन ठीक-ठीक लगा यह गीत, पहले भी।

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  5. सहमत, गीत की मेलोडी ध्यान खींचती है।

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